प्रिय भाईयों, बहनों और प्यारे बच्चों,
स्वतंत्रता की वर्षगाँठ पर आप सभी को बहुत-बहुत बधाई और शुभकामनायें।
भोपाल। 15 अगस्त 1947 को हम विदेशी गुलामी से आजाद हुए थे। आजादी की लड़ाई और नए भारत के निर्माण में राष्ट्र पिता महात्मा गांधी और उनके हाथों से संवारी गई भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की महत्वपूर्ण भूमिका रही । परन्तु देश की आजादी की लड़ाई में जिनका कहीं नामो निशान नहीं है, भारत को राष्ट्र बनाने में जिनका कोई योगदान नहीं है, वे आज देश को आजादी और राष्ट्रवाद की परिभाषा सिखाने निकले हुये हैं।
मैं आज इस अवसर पर नई पीढ़ी को बताना चाहता हॅू कि भारत की आजादी की लड़ाई अनगिनत स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने लड़ी, जैसे – गांधी और नेहरू ने लड़ी थी, लाल – बाल – पाल ने लड़ी थी, आजाद और बोस ने लड़ी थी, बिस्मिल और राजगुरु ने लड़ी थी, सुखदेव और भगत सिंह ने लड़ी थी, दुर्गावती और लक्ष्मीबाई ने लड़ी थी, टंट्या भील और बिरसा मुंडा ने लड़ी थी । आज इन महान सेनानियों को नमन करने का दिन है, इनकी देशभक्ति को नमन करने का दिन है।
ब्रिटिश गुलामी से जब भारत आजाद हुआ तब देश अनेकों चुनौतियों से घिरा हुआ था । देश के सामने सबसे बड़ी चुनौती थी – सबको एकजुट रखने की । पंडित जवाहरलाल नेहरू ने इतनी विभिन्नताओं वाले भारत को एकजुट कर एक झण्डे के नीचे ला खड़ा किया जबकि इस तरह की विभिन्नता वाले राष्ट्र टूट कर बिखर गये । हमें भारत की एकता और अखण्डता पर गर्व है । आज की पीढ़ी के लिए उस समय की चुनौतियों को समझ पाना बहुत कठिन है। इन चुनौतियों के बीच पंडित जवाहरलाल नेहरू के नेतृत्व में कांग्रेस सरकार ने देश को विकास की नई राह पर ले जाना शुरू किया।
महान नेता बाबा साहेब अंबेडकर ने समतामूलक समाज के निर्माण के लिए भारत का संविधान बनाया ।
पंडित नेहरू ने जमींदारी प्रथा को समाप्त कर किसानों को उनकी जमीनों का मालिकाना हक दिलाया । उनके समय में देश में बड़े और छोटे हजारों बाँध बने, एम्स, आई.आई.टी. जैसी शैक्षणिक संस्थाऐं बनी, भाभा परमाणु रिसर्च सेंटर और लड़ाकू जहाज बनाने की कम्पनी बनी और आज की नवरत्न कंपनियां भी उन्ही के समय में देश में खड़ी हुई । प्रदेश में स्थित बी.एच.ई.एल. भी उन्हीं की देन है । नेहरू ने भारत को विकासशील राष्ट्र बनाया ।
गांधीवादी नेता और देश के पहले गृहमंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल ने छोटी-बड़ी रियासतों को जोड़कर मजबूत भारत की नींव डाली।
लाल बहादुर शास्त्री ने ‘जय जवान-जय किसान’ के नारे के साथ देश के किसान भाईयों और सेना के जवानों को मजबूती के साथ खड़ा किया ।
प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने हरित क्रांति और श्वेत क्रांति से देश को आत्मनिर्भर बनाने की ओर कदम उठाये । उन्होने गरीबी हटाओ अभियान से देश की और बांगलादेश के निर्माण से विश्व की सूरत बदल दी । देश की एकता और अखंडता के लिए इंदिरा जी ने अपना पूरा जीवन होम कर दिया।
श्री राजीव गांधी ने कंप्यूटर क्रांति और आधुनिकता से भारत का परिचय कराया और इक्कीस वी सदी के नये भारत की नींव डाली ।
श्री नरसिम्हा राव ने उदारीकरण से भारत में नये आर्थिक युग की शुरूआत की।
डॉ. मनमोहन सिंह ने उदारीकरण को नई ऊंचाईयॉं दी । उनके समय में मनरेगा, आर.टी.आई, राईट टू फुड और राईट टू ऐजुकेशन के अधिकार मिले। देश के किसानों की कर्जमाफी का ऐतिहासिक कार्य भी इसी समय हुआ ।
कांग्रेस के त्याग और समर्पण का सफर सन् सैतालीस से शुरू होकर आज तक लगातार जारी है।
मध्यप्रदेश में वर्ष 2018 में आप सभी ने कांग्रेस की सरकार चुनी और मुझे आपकी सेवा का अवसर मिला। मैंने एक नया मध्यप्रदेश बनाने का सपना बुना था और इस सपने को साकार करने के लिए हमने सत्ताईस लाख किसानों की कर्जमाफी की, हजारों गौशालायें बनाई, सौ रूपये में सौ यूनिट बिजली दी, शुद्ध के लिए युद्ध अभियान और माफियामुक्त मध्यप्रदेश अभियान चलाया ।
मेरा उद्देश्य था कि प्रदेश में आर्थिक गतिविधि बढ़े और निवेश आये । निवेश तब आता है जब विश्वास का वातावरण हो । हमारी सरकार ने प्रदेश में निवेश के वातावरण को बनाने की ओर काम शुरू किया था ।
हमने ओ.बी.सी. आरक्षण को बढ़ाकर सत्ताईस प्रतिशत किया और सामान्य वर्ग को दस प्रतिशत आरक्षण दिया था। पेंशन की राशि को बढ़ाकर छः सौ रूपये और कन्या विवाह की सहायता राशि को इनक्यावन हजार रूपये किया ।
हमने ‘‘राम वन गमन पथ’’, ‘‘ॐ सर्किट की योजना’’, महाकाल एवं ओंकारेश्वर मंदिर में निर्माण प्रारंभ कराया । पुजारियों के मानदेय को तीन गुना किया।
मेट्रो रेल परियोजना, युवाओं को उद्योग में रोजगार के लिए सत्तर प्रतिशत आरक्षण, महिला अपराधों में कमी, मैग्निफिसेंट मध्यप्रदेश और कर्मचारी हितैषी फैसले जैसे अनेक कार्य किये।
मध्यप्रदेश की इस सुनहरी तस्वीर से माफिया डर गए और चुनी हुई सरकार को सौदेबाजी कर गिरा दिया । मध्यप्रदेश के नये निर्माण का सफर अधूरा रह गया । आज देश में सरकारों के सौदे हो रहे है और देश कई चुनौतियों से घिरा हुआ है ।
भारत में आज ऐसी परिस्थितियां हैं, जैसी कभी नही रहीं । आज देश का हर वर्ग परेशान है। आज देश में भटकता हुआ नौजवान है, पीड़ित किसान है, शोषित व्यापारी है, असुरक्षित बेटियां हैं और निम्न एवं मध्यम वर्ग मंहगाई की मार को झेल रहा है । बाजारों में सन्नाटा पसरा हुआ है और आर्थिक गतिविधियां ठप्प हो चुकी हैं । विकास के नाम पर देश में सिर्फ जुबानें चलाई जा रही है। मैं हमेशा कहता हूँ कि जुबान चलाने और सरकार को चलाने में बड़ा अंतर होता है। आज यही स्थितियां है ।
हमने देखा कि कोरोना महामारी में देश और प्रदेश में बहुत तबाही हुई। कोरोना से निपटने की अव्यवस्था के कारण बहुत नुकसान हुआ। आमजन बेड, ऑक्सीजन, इंजेक्शन और दवाओं के लिए भटकते रहे और बिना इलाज के लाखों लोगों की जान गई । सरकार लगातार मौत के झूठे आंकड़े देती रही और हेड लाईन मेनेजमेंट में लगी रही । कोरोना के समय हुई अव्यवस्था की सच्चाई को देश की जनता ने देखा है ।
आज मंहगाई चरम पर है । रसोई गैस, डीजल, पेट्रोल और खाद्य सामग्रियों के दाम आसमान छू रहे हैं और जनता परेशान है।
देश के किसान भाई तीन काले कानूनों के खिलाफ साल भर से आन्दोलन कर रहे है और अब तक छः सौ किसान भाईयों की जाने चली गई, पर देश की सरकार गूंगी बहरी बनी बैठी है ।
देश में बेरोजगारी ने सारे रिकार्ड तोड़ दिये हैं। युवा भटक रहे हैं । ऐसे हम आने वाली पीढ़ी को कैसे खुशहाल जीवन दे पाएंगे?
प्रदेश में हुई अतिवृष्टि एवं बाढ़ की आपदा से आमजन परेशान है । प्रभावित परिवारों के प्रति कांग्रेस पार्टी सहानुभूति रखती है। क्षेत्र में कांग्रेस कार्यकर्ता आमजनों को राहत पहुंचाने में मदद कर रहे हैं । आमजन का जीवन जल्दी ही सामान्य हो मैं ऐसी कामना करता हॅूं ।
आज देश को नई चुनौतियों से लड़ने की आवश्यकता है । आज आवश्यकता है कि हमारा देश मंहगाई के खिलाफ लडे़, बेरोजगारी से लडे, किसानों को सक्षम बनाने के लिए लड़े, महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान के लिए लड़े, व्यापारियों को व्यापार के अवसर देने के लिए लड़े । ये सभी चुनौतियाँ आज देश के सामने हैं।
आज देश उसी तरह से चुनौतियों से घिरा हुआ है जैसा आजादी के समय घिरा हुआ था । देशवासियों ने आजादी के बाद सभी चुनौतियों को स्वीकार किया था और उससे लड़ने के लिए आगे बढ़े थे । आज फिर से मौका है कि हम वर्तमान चुनौतियों को स्वीकार करें और इसका मुकाबला करते हुए देश को सही राह पर आगे बढ़ाये।
आईये, आज स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर हम सभी संकल्प लें कि हम सच्चाई को पहचानेंगे, सच्चाई को अपनाएंगे और सच्चाई का ही साथ देंगे।
नए मध्यप्रदेश के निर्माण का जो सपना मैंने और आपने देखा था उस सपने को पूरा करने के संकल्प को आज फिर मैं दोहराता हॅूं । हम मिलकर मध्यप्रदेश की नई पहचान जरूर बनायेंगे ।
जय हिन्द, जय भारत, जय मध्यप्रदेश !