– प्रधानमंत्री ने किया आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर अभियान का आगाज
– पीएम बोले- ब्रह्माकुमारीज विश्व के लोगों को भारत की अच्छाइयों के बारे में बताएं, यहां का सोलर पॉवर से भोजन बनना सराहनीय कार्य
– अंतरराष्ट्रीय मुख्यालय शांतिवन, आबू रोड से एक साथ सात देशव्यापी अभियानों को पीएम ने दिखाई हरी झंडी
– राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र, सीएम अशोक गहलोत, गुजरात के सीएम भूपेन्द्र पटेल, केंद्रीय मंत्री जी किशन रेड्डी,
20 जनवरी, आबू रोड, राजस्थान (निप्र)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को ब्रह्माकुमारीज संस्था के आबू रोड स्थित शांतिवन परिसर में आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर अभियान का वर्चुअल शुभारंभ किया। साथ ही सात अभियानों को हरी झंडी दिखाई। इस दौरान अपने संबोधन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि ब्रह्माकुमारीज संस्थान के प्रयासों से देश को एक नई ऊर्जा और शक्ति मिलेगी। त्याग और कत्र्तव्य भाव से करोड़ों देशवासी आज स्वर्णिम भारत की नींव रख रहे हैं। राष्ट्र की प्रगति से ही हमारी प्रगति है। यही भाव एक ताकत बन रहा है। सबका साथ, सबका विकास और सबका प्रयास देश का मूलमंत्र बन रहा है। हम ऐसी व्यवस्था बना रहे है जिसमें भेदभाव की जगह ना हो। ब्रह्माकुमारीज संस्थान का प्रभाव पूरे विश्व में है। मुझे उम्मीद है आने वाले समय में इस अभियान में एक नयी उर्जा का संचार होगा।
उन्होंने कहा कि इस अभियान में स्वर्णिम भारत के लिए भावना भी है और साधना भी है। इसमें देश के लिए प्रेरणा भी है और ब्रह्माकुमारियों के प्रयास भी हैं। मैं देश के संकल्पों के साथ, देश के सपनों के साथ निरंतर जुड़े रहने के लिए ब्रह्माकुमारी परिवार का बहुत-बहुत अभिनंदन करता हूं। जब संकल्प के साथ साधना जुड़ जाती है, जब मानवमात्र के साथ हमारा ममभाव जुड़ जाता है, अपनी व्यक्तिगत उपलब्धियों के लिए इदं न मम् का भाव जागने लगता है तो समझिए हमारे संकल्पों के जरिए एक नए कालखंड का जन्म होने वाला है। एक नया सवेरा होने वाला है। सेवा और त्याग का यही अनुभव आज अमृत महोत्सव में नए भारत के लिए उमड़ रहा है।
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ओम शांति मंत्र से तनाव हो जाता है दूर: सीएम गहलोत
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि मैं बचपन से ही यहां आता रहा हूं। यहां दादियों ने मुझे मूलमंत्र दिया है कि जब भी तनाव हो तो तीन बार ओम शांति बोलना। ओम शांति एक ऐसा मंत्र है जिसके उच्चारण से ही तनाव दूर हो जाता है। उन्होंने दादियों के साथ के अनुभव को सांझा करते हुए ब्रह्माकुमारीज द्वारा किए जा रहे कार्यों की सराहना की। साथ ही अमृत महोत्सव के तहत होने वाले कार्यक्रमों को जनमानस के लिए महत्वपूर्ण बताया। संस्था आने वाली पीढ़ी को अच्छे संस्कार देने का कार्य कर रही है।
गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल ने कहा कि ब्रह्माकुमारीज अच्छा काम कर रही है। आजादी के अमृत महोत्सव से जन-जन को लाभ मिलेगा। इस अभियान से समाज में अच्छा संदेश जाएगा, इसलिए ब्रह्माकुमारीज को बधाई देता हूं।
संस्था आठ दशक से व्यक्तित्व निर्माण में जुटी: लोस स्पीकर
लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि ब्रह्माकुमारीज पिछले आठ दशक से व्यक्तित्व निर्माण का कार्य कर रही है। आपने राजयोग से समस्त मानवता को साधना और आध्यात्म का मार्ग बताया है। यह अभियान स्वर्णिम भारत की झलक और आधुनिक भारत की छवि दिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। यहां की आध्यात्मिक जीवनशैली समाज को नई दिशा दिखा रही है।
संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री जे किशन रेड्डी ने कहा कि अमृत महोत्सव के तहत ब्रह्माकुमारीज के आयोजनों से दुनिया को नया रास्ता मिलेगा। इसके तहत संस्थान का 15 हजार कार्यक्रमों के जरिए 10 करोड़ लोगों तक पहुंचने का लक्ष्य रखा है।
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ब्रह्माकुमारी संस्था से प्रधानमंत्री के तीन बड़े आह्नान-
1. नागरिकों में कर्तव्य भावना का विकास करें-
उन्होंने आग्रह किया कि ब्रह्माकुमारीज जैसी संस्थाएं आने वाले 25 वर्ष के लिए एक मंत्र बना लें कि भारत के जन-जन को कर्तव्य के लिए जागरूक करके बहुत बड़ा बदलाव ला सकते हैं। आप सभी अपनी शक्ति और समय, जन-जन में कर्तव्य बोध जागृत करने में जरूर लगाएं। ब्रह्माकुमारी जैसी संस्था दशकों से कर्तव्य के पथ पर चल रही है, आप लोग कर्तव्य में रचे-बसे हैं, इसलिए जिस भावना के साथ आप अपनी संस्था में काम करते हैं उस कर्तव्य भावना का विस्तार समाज, देश में हो, लोगों में हो ये आजादी के अमृत महोत्सव का आप लोगों को देश का उत्तम उपहार होगा। हम सभी को देश के हर नागरिक के मन में कर्तव्य का दीया जलाना है। इससे समाज में व्याप्त बुराइयां दूर होंगी और देश नई ऊंचाई पर पहुंचेगा।
2. भारत की सच्चाई को दूसरे देशों के लोगों तक पहुंचाएं-
प्रधानमंत्री ने ब्रह्माकुमारी बहनों से आह्नान किया कि हमारा दायित्व है कि दुनिया भारत को सही रूप में जाने। ऐसी संस्थाएं जिनकी एक अंतरराष्ट्रीय उपस्थिति है, वे दूसरे देशों के लोगों तक भारत की सही बात को पहुंचाएं। भारत के बारे में जो अफवाहें फैलाई जा रही हैं, उनकी सच्चाई वहां के लोगों को बताएं, जागरूक करें, ये हम सबका कर्तव्य है। ब्रह्माकुमारी विश्व के हर देश से अपनी हर एक ब्रांच से 500 लोगों को भारत दर्शन के लिए लाएं। जो यहां आकर भारत की अच्छाइयों को समझेंगे और विश्व में लेकर जाएंगे। भारत की आध्यात्मिक सत्ता आप सभी ब्रह्माकुमारी बहनें इसी परिपक्वता के साथ निभाएं।
3. आत्म निर्भर भारत को दें गति-
उन्होंने आह्नान किया कि सभी आत्मनिर्भर भारत अभियान को भी गति दे सकते हैं। वोकल फॉर लोकल। स्थानीय उत्पादों को गति देकर इस अभियान में बहुत बड़ी मदद हो सकती है।
प्रधानमंत्री ने नारी शक्ति के योगदान को सराहा-
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारा युगों-युगों का इतिहास इस बात का साक्षी है दुनिया जब अंधकार के दौर में थी, महिलाओं को लेकर पुरानी सोच में जकड़ी थी तब भारत मातृ शक्ति की पूजा देवी के रूप में करती थी। हमारे यहां गार्गी, मैत्री, अनुसुईया, अरुंधति और मदालसा जैसी विदूषियां समाज को ज्ञान देती थीं। कठिनाइयों से भरे मध्यकाल में भी इस देश में पन्नाधाय और मीराबाई जैसी महान नारियां हुईं। स्वतंत्रता संग्राम में कितनी ही महिलाओं ने अपना बलिदान दिया। कित्तूर की रानी चेनम्मा, मतंगिनी हाजरा, रानी लक्ष्मीबाई, वीरांगना झलकारी बाई से लेकर सामाजिक क्षेत्र में अहिल्या बाई होलकर, सावित्रीबाई फुले इन देवियों ने भारत की पहचान बनाए रखी है। आज देश लाखों स्वतंत्रता सेनानियों के साथ आजादी की लड़ाई में नारी शक्ति के इस योगदान को याद कर रहा है। देश के लोकतंत्र में भी महिलाओं की भागीदारी बढ़ रही है। 2019 के चुनाव में पुरुषों से ज्यादा महिलाओं ने मतदान किया। आज देश की सरकार में बड़ी-बड़ी जिम्मेदारियां महिला मंत्री संभाल रही हैं। बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान की सफलता से वर्षों बाद देश में स्त्री-पुरुष का अनुपात भी बेहतर हुआ है।
अगले 25 साल त्याग-तप-तपस्या के वर्ष-
अगले 25 साल परिश्रम की पराकाष्ठा, त्याग-तप-तपस्या के वर्ष हैं। सैकड़ों वर्षों की गुलामी में हमारे समाज ने जो गंवाया। ये 25 वर्ष का कालखंड उसे दोबारा प्राप्त करने का है। इसलिए आजादी के इस अमृत महोत्सव में हमारा ध्यान भविष्य पर ही केंद्रित होना चाहिए। हमारा समाज ऐसा समाज है जिसमें नित पुरातन और नूतन व्यवस्था है। समय के साथ कुछ बुराइयों व्यक्ति और समाज में भी प्रवेश कर जाती हैं।
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ब्रह्माकुमारीज गांवों के लिए प्रेरणा बन सकती है-
प्रधानमंत्री ने कहा कि ब्रह्माकुमारी संस्था आध्यात्म के साथ शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि जैसे कई क्षेत्रों में कई बड़े-बड़े काम कर रहे हैं। अमृत महोत्सव के लिए आपने कई लक्ष्य निर्धारित किए हैं। संस्था के प्रयास देश को एक नई ऊर्जा और शक्ति देंगे। खान-पान की शुद्धता को लेकर हमारी बहनें समाज को लगातार जागरूक करती रहीं हैं। ब्रह्माकुमारी प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देेने के लिए एक बहुत बड़ी प्रेरणा बन सकती है। गांवों के लिए प्रेरणा बन सकती हैं। ब्रह्माकुमारी ने तो सोलर पॉवर के क्षेत्र में एक उदाहरण रखा है। कितने ही समय से यहां की रसोई में सोलर पॉवर से खाना बनाया जाता है। सोलर पॉवर का इस्तेमाल ज्यादा से ज्यादा लोग करें इसमें भी आपका बहुत बड़ा सहयोग हो सकता है।
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कुछ स्थल ऐसे होते हैं जिनमें अपनी एक अलग चेतना होती है। ऊर्जा का अपना अलग ही प्रवाह होता है। ये ऊर्जा उन महान व्यक्त्तिवों की होती है जिनकी तपस्या से वन, पर्वत, पहाड़ भी जागृत हो उठते हैं। मानवीय प्रेरणाओं का केंद्र बन जाते हैं। माऊंट आबू की आभा भी दादा लेखराज और उन जैसे अनेकों सिद्ध पुरुषों से निरंतर बढ़ती रहती है। आज माउंट आबू के इस पवित्र स्थान से इस संस्था के द्वारा आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर। एक बहुत बड़े अभियान का प्रारंभ हो रहा है। इस अभियान में स्वर्णिम भारत के लिए भावना भी है और साधना भी है। इसमें देश के लिए प्रेरणा भी है और ब्रह्माकुमारियों के प्रयास भी हैं। मैं देश के संकल्पों के साथ, देश के सपनों के साथ निरंतर जुड़े रहने के लिए ब्रह्माकुमारी परिवार का बहुत-बहुत अभिनंदन करता हूं।
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यह भी बोले प्रधानंत्री-
– राजयोगिनी दादी जानकी और राजयोगिनी दादी हृदयमोहिनी को याद करते हुए कहा कि वह भले शरीरिक रूप से हमारे बीच उपस्थित नहीं हैं। मुझसे उनका बहुत स्नेह था। आज के कार्यक्रम में मैं उनका स्नेह महसूस कर रहा हूं।
– भारत की सबसे बड़ी ताकत ये है कैसा भी समय आए, कितना भी अंधेरा छाए, भारत अपने मूल स्वभाव को बनाए रखता है।
– जो लोग जागृत रहते हुए बुराइयों को जान लेते हैं, वह इनसे बचने में सफल हो जाते हैं। ऐसे लोग अपने जीवन में हर लक्ष्य प्राप्त कर सकते हैं।
– समाज सुधार के प्रारंभिक वर्षों में ऐसे लोगों को विरोध का भी सामना करना पड़ता है। कई बार तिरस्कार भी सहना पड़ता है। लेकिन ऐसे सिद्ध लोग समाज सुधार के काम से पीछे नहीं हटते, वह अडिग रहते हैं। समय के साथ समाज उन्हें मान-सम्मान देता है, उन्हें मानता है और उनकी सीखो को आत्मसात भी करता है।
– वर्तमान समय सोते हुए सपने देखने का नहीं, बल्कि जागृत होकर अपने संकल्पों को पूरे करने का है।
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इन सात अभियानों का प्रधानमंत्री ने किया शुभारंभ-
1. वैक्सीनेसन अभियान: गांव-गांव में लोगों के लिए वैक्सीन लगाने और जागरूक करने।
2. आत्मनिर्भर किसान: किसानों को यौगिक-जैविक खेती के प्रति जागरूक करने।
3. महिलाएं: नए भारत की ध्वजवाहक अभियान
4. ‘अनदेखा भारतÓ साइकिल रैली
5. सड़क सुरक्षा के लिए देशभर में 150 बाइक रैली- एक बाइक रैली में 75 बाइक शामिल होंगी। सभी रैलियों को मिलाकर 25 हजार किमी की दूरी तय की जाएगी।
6. आबू रोड से दिल्ली जाने वाली ‘एक भारत श्रेष्ठ भारतÓ मोटरसाइकिल रैली रवाना
7. युवाओं को सशक्त बनाने के लिए ‘बस यात्राÓ और ‘स्वच्छ भारत अभियानÓ
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इन्होंने भी व्यक्त किए विचार–
कार्यक्रम में संस्थान की न्यूयार्क से जुड़ी अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका बीके मोहिनी बहन ने कहा कि सभी को मिलकर प्रयास करना होंगे तभी समाज में शांति और सद्भावना आएगी। इस दौरान महासचिव बीके निर्वैर, अतिरिक्त महासचिव बीके बृजमोहन, संयुक्त मुख्य प्रशासिका बीके मुन्नी बहन, सूचना निदेशक बीके करुणा ने भी अपने विचार व्यक्त किए। कार्यकारी सचिव बीके मृत्युंजय ने स्वागत भाषण दिया। संचालन एजुकेशन विंग की मुख्यालय समन्वयक बीके शिविका बहन ने किया।
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ये भी जुड़े ऑनलाइन
कार्यक्रम में ऑनलाइन ऑनलाइन राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्रा, राजस्थान के तकनीकी शिक्षा मंत्री डॉ. सुभाष गर्ग, पहलवान रितु फोगाट, निर्देशक सुभाष घई सहित विदेशों से भी कई जानी-मानी हस्तियां शामिल हुईं। इस दौरान ग्रेमी अवार्ड से सम्मानित एक्टर रिक्की केज की ओर से अमृत महोत्सव थीम पर बनाया गया वीडियो एलबम भी रिलीज किया गया।