मानवता शर्मसार : कोरोना से ठीक हुए 50 मरीजों को घर ले जाने से परिजनों ने किया इनकार

हैदराबाद : हैदराबाद में एक ऐसा मामला सामने आया है, जिससे मानवता शर्मसार हो गई है। दरअसल, शहर के गांधी अस्पताल में भर्ती कोविड-19 मरीजों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई और उन्हें घर जाने को कहा गया। लेकिन अब मरीजों के परिजनों ने उन्हें घर पर रखने से इनकार कर दिया है।

गांधी अस्पताल के नोडल अधिकारी डॉ प्रभाकर राव ने कहा कि 50 से ऊपर महिला और पुरुष मरीज कोविड-19 से संक्रमित पाए गए थे और उनका पिछले 10-15 दिनों से अस्पताल में इलाज चल रहा था।
उन्होंने बताया कि इलाज के बाद वे सभी ठीक हो गए और उनमें कोई लक्षण नहीं थे। हमने उन्हें छुट्टी दे दी और उन्हें होम क्वारंटीन के लिए फिट घोषित कर दिया। लेकिन अब उनके परिजनों ने उन्हें घर पर रखने से इनकार कर दिया है।

डॉ प्रभाकर ने बताया कि 50 के करीब मरीजों ने कई घंटे तक अपने परिजनों का इंतजार किया। जब उन्हें लेने के लिए कोई नहीं आया तो, हमने उन्हें फिर से अस्पताल में भर्ती कर लिया और ठहरने के लिए बेड्स की व्यवस्था की। इन मरीजों में दो उम्र के लोग शामिल हैं।

उन्होंने बताया कि इन लोगों में से कुछ लोगों को गांधी अस्पताल में उच्च आयु वर्ग वाले सेक्शन में रखा गया है और 50 साल से ज्यादा उम्र वाले लोगों को श्नेचर क्योरश् अस्पताल में स्थानांतरित कर दिया गया है।

राव ने बताया कि उनके परिवार वालों का कहना है कि इन लोगों की एक बार फिर कोरोना जांच की जाए, जिससे की इनके निगेटिव होने की फिर से पुष्टि हो सके। लेकिन इस विकट घड़ी में दोबारा जांच करना संभव नहीं है।

डॉ प्रभाकर ने ऐसे ही एक मामले का उदाहरण देते हुए बताया कि 15 दिन से गांधी अस्पताल में भर्ती की गई 93 वर्षीय संक्रमित महिला अब ठीक हो चुकी है और अस्पताल प्रशासन से उसे छुट्टी दे दी है। लेकिन उसके परिजन उसे लेने के लिए अस्पताल नहीं आ रहे हैं, इसलिए हमने महिला को यहीं रखा हुआ है।

बता दें कि, तेलंगाना के नोडल सेंटर ने गांधी अस्पताल को कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए नामित किया है।

 

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