देखिए VIDEO : 95 वर्षीय सुधरा बी ने दी कोरोना को मात, सुनाई अपनी जीत की दास्तान।

बाल किशन यादव, खण्डवा : खण्डवा शहर के खानशाहवली क्षेत्र में रहने वाली 95 वर्षीय सुधरा बी गत 1 अगस्त को कोरोना संक्रमित पाई जाने पर जिला अस्पताल के कोविड केयर सेंटर में भर्ती हुई थी। यहां अस्पताल के नर्सिंग स्टॉफ ने उनकी अच्छी तरह देखभाल की और चिकित्सकों ने उनका बेहतर उपचार किया, तो सुधरा बी स्वस्थ होकर अपने घर वापस पहुंच गई है।

सुधरा बी बताती है:- अस्पताल में 15-16 दिन भर्ती रहने के दौरान उन्हें कोई परेशानी नहीं हुई, समय पर नाश्ता, समय पर खाना और समय समय पर दवाईयां उन्हें मिलती थी। सुबह शाम दोनों समय डॉक्टर्स नियमित रूप से उनके स्वास्थ्य की जानकारी लेते थे, जिससे उन्हें अस्पताल में बहुत अच्छा लगा। सुधरा बी बताती है कि अस्पताल में साफ सफाई भी उत्कृष्ट थी।

95 वर्षीय सुधरा बी बताती है कि अधिक उम्र में कोरोना संक्रमण होने पर वो काफी डरी हुई थी कि न जाने क्या होगा। उन्हें जुलाई माह के अंत में सांस लेने में कुछ समस्या आ रही थी, तो कोरोना संक्रमण की जांच उन्होंने कराई, जिसमें 1 अगस्त को उनकी रिपोर्ट पॉजिटिव आईं और उसी दिन जिला अस्पताल की एम्बूलेंस उन्हें लेने घर आ गई। घर से अस्पताल आते समय वह काफी चिंतित थी और तरह तरह के ख्याल उनके मन में आ रहे थे, लेकिन अस्पताल पहुंचने के कुछ देर बाद ही उनका यह डर दूर हो गया। अस्पताल की बेहतर व्यवस्थाओं के चलते 15 दिन कब बीत गए पता न चला। गत 14 अगस्त को उनकी रिपोर्ट निगेटिव आ गई और उन्हें डिस्चार्ज करने की कार्यवाही शुरू हो गई।

कोविड वार्ड के ड्यूटी डॉक्टर रणजीत बड़ोले व अन्य ड्यूटी डॉक्टर्स ने सुधरा बी की अधिक उम्र तथा कमजोर हालत देखकर निर्णय लिया कि सुधरा बी को कोविड वार्ड से डिस्चार्ज कर 1-2 दिन मेडिकल वार्ड में भर्ती रखा जाये। दो दिन जनरल मेडिकल वार्ड में भर्ती रहने के बाद अब सुधरा बी अपने घर पहुंच गई है और पूर्णतः स्वस्थ्य मेहसूस कर रही है। वो डॉक्टर्स एवं वहां के सभी ड्यूटी कर्मचारियों का बहुत बहुत आभार प्रकट करती है।

जिला चिकित्सालय खण्डवा के सिविल सर्जन डॉ. ओ.पी. जुगतावत ने बताया कि सुधरा बी को अधिक उम्र में कोरोना संक्रमण होने से अस्पताल के डॉक्टर्स व स्टॉफ के लिए उनका उपचार करना एक चुनौती पूर्ण कार्य था, लेकिन सभी के सामूहिक प्रयास से सुधरा बी स्वस्थ्य होकर अपने घर पहुंच गई। डॉ. जुगतावत ने बताया कि सुधरा बी के उपचार में विशेष सतर्कता और सजगता बरती गई, क्योंकि इस उम्र में रिकवरी में अनेक दिक्कतें आती है।

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